शिक्षक का कार्य विद्यार्थियों की प्रतिभा को तलाशना और तराशना होता है :- मंत्री योगेन्द्र उपाध्याय

■ शिक्षक से गुरु बनने का मार्ग कठिन अवश्य है परंतु एक शिक्षक को गुरु धर्म का पालन करते हुए गुरुदेवो भव के भाव को जीवन में चरितार्थ करना चाहिए – मंत्री योगेन्द्र उपाध्याय

लखनऊ, कैनविज टाइम्स संवाददाता। अलीगंज स्थित नेताजी सुभाष चंद्र बोस राजकीय महिला स्नातकोत्तर महाविद्यालय में दो दिवसीय अंतर महाविद्यालयी साहित्यिक- सांस्कृतिक समारोह उन्मेष- 2024 का समापन हुआ। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री योगेन्द्र उपाध्याय तथा विशिष्ट अतिथि के रूप में प्रमुख समाज सेविका बिंदु बोरा तथा लखनऊ पूर्व के विधायक ओपी श्रीवास्तव मौजूद रहे। मुख्य अतिथि ने कहा कि शिक्षक का कार्य विद्यार्थियों की प्रतिभा को तलाशना और तराशना होता है। शिक्षक से गुरु बनने का मार्ग कठिन अवश्य है परंतु एक शिक्षक को गुरु धर्म का पालन करते हुए गुरुदेवो भव के भाव को जीवन में चरितार्थ करना चाहिए। उन्होंने विद्यार्थियों का आह्वान किया कि उन्हें देश भक्ति का भाव जागृत करते हुए “ईदम नमम ईदम राष्ट्राय” के मूल मंत्र को अपनाना चाहिए तथा तेरा वैभव अमर रहे माँ, हम दिन चार रहें न रहें, की भावना से कार्य करना चाहिए। इसके पूर्व उच्च शिक्षा मंत्री ने महाविद्यालय के बहुउद्देशीय अटल सभागार में कराये गये 168 लाख रूपये के सौंदर्यीकरण तथा केन्द्रीयत वातानुकूलन तथा स्मृति संचय वीथिका का लोकार्पण भी किया। कार्यक्रम में महाविद्यालय की पत्रिका प्राची के संयुक्तांक का विमोचन भी किया गया।
इस अवसर पर संपादक मंडल के सभी सदस्य प्रोफ़ेसर संजय बरनवाल, डाक्टर राजीव यादव, डाक्टर भास्कर शर्मा, डाक्टर मीनाक्षी शुक्ला, डाक्टर श्वेता भारद्वाज एवं डाक्टर उषा मिश्रा मौजूद रही। दो दिनों में आयोजित प्रतियोगिताओं में लखनऊ विश्वविद्यालय एवं उससे संबद्ध महाविद्यालय एवं समीपवर्ती जनपद में स्थित महाविद्यालयो के छात्र-छात्राओं ने विभिन्न प्रतियोगिताओं में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया।

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