कैनविज टाइम्स,डिजिटल डेस्क ।देश में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी हुई है, जिससे आम जनता पर सीधा असर पड़ने की संभावना है। हाल ही में, तेल कंपनियों ने अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में वृद्धि का हवाला देते हुए देश में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में इजाफा किया है।
इस बढ़ोतरी के बाद, पेट्रोल और डीजल की कीमतें कई शहरों में ऐतिहासिक उच्चतम स्तर पर पहुँच गई हैं। इससे न केवल यात्री वाहनों के चलने की लागत बढ़ेगी, बल्कि परिवहन और मालवाहन शुल्क में भी वृद्धि होगी, जिसका असर अंततः आवश्यक वस्तुओं और सेवाओं की कीमतों पर पड़ेगा।
विशेषज्ञों का कहना है कि इस वृद्धि से महंगाई पर भी दबाव बढ़ेगा, क्योंकि परिवहन लागत बढ़ने से चीजों के दाम बढ़ने की संभावना है। आम जनता, विशेष रूप से मध्यम वर्ग और निम्न आय वर्ग, को इस वृद्धि का सामना करना पड़ सकता है।
सरकार और विशेषज्ञों ने इस स्थिति से निपटने के लिए विभिन्न उपायों की सलाह दी है, जैसे कि वैकल्पिक ऊर्जा स्रोतों को बढ़ावा देना या तेल कीमतों को नियंत्रित करने के लिए कदम उठाना। हालांकि, तेल की कीमतों में अस्थिरता का सामना करने के लिए सरकार के पास सीमित विकल्प हैं, और यह स्थिति भारतीय अर्थव्यवस्था को चुनौती देने वाली साबित हो सकती है।