कैनवीज टाइम्स,डिजिटल डेस्क। रूस-यूक्रेन युद्ध में एक और खतरनाक मोड़ आ गया है, जब रूस ने यूक्रेन के नागरिक क्षेत्रों पर बड़े पैमाने पर हमले शुरू कर दिए हैं। यह हमले ऐसे समय पर हुए हैं, जब दोनों देशों के बीच संघर्ष लगभग सालभर से अधिक समय से जारी है। रूस ने यूक्रेन के कीव, खारकीव, निकोलाइव, और डोनेट्स्क जैसे प्रमुख शहरों पर बमबारी की, जिससे नागरिकों के बीच भारी तबाही और डर का माहौल बन गया है।
हमले की घटना:
रूस द्वारा किए गए ताजा हमलों में क्रूज मिसाइलें और रॉकेट लॉन्च सिस्टम का इस्तेमाल किया गया है। हमलों में कई आवासीय क्षेत्रों, अस्पतालों, स्कूलों और अन्य नागरिक प्रतिष्ठानों को निशाना बनाया गया। यूक्रेनी अधिकारियों के मुताबिक, इस बमबारी में कम से कम 20 लोग मारे गए और कई अन्य घायल हुए हैं। कई इमारतें नष्ट हो गईं और कई घरों को भारी नुकसान पहुंचा है।
रूस ने यह हमला पूर्वी यूक्रेन के उन क्षेत्रों में किया है, जो पहले से ही युद्ध से प्रभावित हैं। यूक्रेनी अधिकारियों का कहना है कि रूस की यह रणनीति एकतरफा और पूरी तरह से युद्ध अपराध के तहत आती है, क्योंकि नागरिक क्षेत्रों पर हमला किया गया है, जबकि अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत यह अवैध है।
यूक्रेन का पलटवार:
यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर ज़ेलेंस्की ने रूस के इस हमले की कड़ी निंदा की है और इसे “कायराना कृत्य” बताया है। ज़ेलेंस्की ने अपने संबोधन में कहा, “रूस के हमले यूक्रेन के नागरिकों और मासूम लोगों के खिलाफ एक और अपराध हैं। हम इसका कड़ा जवाब देंगे।” उन्होंने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से रूस के खिलाफ और भी कड़े प्रतिबंध लगाने की मांग की है, ताकि रूस को यूक्रेन के नागरिकों पर हमले रोकने के लिए मजबूर किया जा सके।
यूक्रेनी सेना ने जवाबी कार्रवाई करते हुए रूस के सैन्य ठिकानों को निशाना बनाने की योजना बनाई है। यूक्रेन के रक्षा मंत्री ओलेक्सी रेज़निकोव ने कहा कि हमलावरों के खिलाफ कठोर प्रतिकार की योजना बनाई गई है, जिससे रूस को अपनी रणनीति बदलने के लिए मजबूर किया जा सके।
अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया:
रूस द्वारा किए गए ताजा हमलों ने वैश्विक स्तर पर चिंता पैदा कर दी है। संयुक्त राष्ट्र और यूरोपीय संघ ने इस हमले की कड़ी निंदा की है और इसे नागरिकों के खिलाफ युद्ध अपराध करार दिया है। संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार आयोग ने कहा कि रूस को जवाबदेह ठहराया जाएगा और उसे अपनी युद्ध नीति में बदलाव लाने के लिए दबाव डाला जाएगा।
अमेरिका और ब्रिटेन जैसे पश्चिमी देशों ने भी इस हमले की निंदा की है और रूस पर और प्रतिबंध लगाने की योजना की घोषणा की है। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा, “हम रूस को यह बता रहे हैं कि यूक्रेन के नागरिकों पर हमले जारी रखना बिल्कुल अस्वीकार्य है। रूस को जल्द से जल्द अपने सैन्य आक्रमण को समाप्त करना होगा।”
युद्ध की बढ़ती जटिलता:
रूस-यूक्रेन युद्ध लगातार जटिल होता जा रहा है। रूस ने पहले भी नागरिकों और नागरिक ठिकानों पर हमले किए हैं, लेकिन इस बार हमले की तीव्रता और दायरा बढ़ गया है। युद्ध ने न केवल यूक्रेन, बल्कि समूचे यूरोपीय क्षेत्र और विश्व राजनीति को भी प्रभावित किया है। यूक्रेन में रूस के हमले से अब तक हजारों लोग जान से हाथ धो चुके हैं, और लाखों लोग अपने घरों से विस्थापित हो गए हैं। इसके साथ ही, युद्ध के कारण आर्थिक संकट, मानवाधिकार उल्लंघन और मानव त्रासदी की स्थिति उत्पन्न हो गई है।
आर्थिक और सैन्य प्रभाव:
यूक्रेन पर रूस के हमले ने वैश्विक अर्थव्यवस्था को भी प्रभावित किया है। यूक्रेन और रूस दोनों प्रमुख गेहूं और ऊर्जा उत्पादक देश हैं, और युद्ध के कारण इन उत्पादों की आपूर्ति बाधित हुई है, जिससे खाद्य पदार्थों और ऊर्जा की कीमतें बढ़ी हैं। इसके अलावा, युद्ध ने वैश्विक आपूर्ति श्रृंखलाओं को भी प्रभावित किया है, जिससे व्यापार में अस्थिरता बढ़ी है।