नई दिल्ली : अगले साल होने वाले यूपी विधानसभा चुनाव (यूपी विधानसभा चुनाव 2022) से ठीक पहले दिल्ली से एक बड़ी राजनीतिक तस्वीर सामने आई है। राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने समाजवादी पार्टी के दिग्गज नेताओं मुलायम सिंह यादव और अखिलेश यादव से मुलाकात की एक फोटो जारी की है. ये तस्वीरें खुद सपा मुखिया अखिलेश यादव ने अपने ट्विटर हैंडल से ट्वीट की हैं. जहां नजर आ रहा है कि कैसे दोनों पार्टियों के वरिष्ठ नेता बेहद गर्मजोशी से मिल रहे हैं और एक दूसरे से बात कर रहे हैं. हालांकि, यह स्पष्ट नहीं है कि उनकी बैठक में क्या हुआ था।
अखिलेश यादव ने ट्वीट कर मुलाकात की तस्वीर
अखिलेश यादव के ट्विटर हैंडल से शेयर की गई एक तस्वीर में लालू यादव सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव से हाथ मिलाते नजर आ रहे हैं. दूसरी फिल्म में अखिलेश यादव भी नजर आ रहे हैं. तीनों नेताओं को चाय पीते और बातें करते देखा गया. इसी बीच एक और तस्वीर सामने आई है जिसमें लालू यादव और मुलायम सिंह यादव एक-दूसरे का अभिवादन करने के लिए हाथ जोड़कर अभिवादन करते नजर आ रहे हैं।
लालू-मुलायम की बैठक में क्या हुआ था?
दोनों बुजुर्गों की इस मुलाकात की वजह अभी साफ नहीं हो पाई है। हालांकि, आगामी यूपी चुनाव से ठीक पहले इस तस्वीर से पता चलता है कि लालू यादव ने दिल्ली में ‘खेलना‘ शुरू कर दिया है। कुछ महीने पहले पशु चारा घोटाले में जमानत पर रिहा हुए लालू यादव दिल्ली में अपनी बेटी मीसा भारती के घर पर आराम कर रहे हैं। हालांकि, दिल्ली में रहने के बाद भी उनकी राजनीतिक रणनीति जारी है। गुरुवार को जब लालू यादव संसद पहुंचे तो उन्होंने सदन की कार्यवाही में हिस्सा नहीं लिया, बल्कि कोरोना की वैक्सीन लेने आए थे. इस दौरान उन्होंने कई मुद्दों पर खुलकर बात भी की.
क्या लालू फिर बन रहे हैं विपक्षी राजनीति की धुरी?
इतना ही नहीं बुधवार को राजद नेता ने एनसीपी प्रमुख शरद पवार और समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता रामगोपाल यादव से भी मुलाकात की. बैठक लालू यादव की बेटी मीसा भारती के आवास पर हुई. पशु चारा घोटाले में जमानत मिलने के बाद से राजद प्रमुख काफी सक्रिय हैं। वह एक बार फिर विपक्षी राजनीति की रीढ़ महसूस कर रहे हैं।
लोजपा के बंटवारे के बाद राजद सुप्रीमो दीप जलाकर सक्रिय नजर आ रहे हैं.
इस बीच बिहार में लालू यादव के साथ सियासी पारा चढ़ गया है. लोजपा में फूट के बाद लालू यादव के कहने पर राजद नेता श्याम रजक ने हाल ही में चिराग पासवान से मुलाकात की. इसके अलावा बिहार विधानसभा सत्र के दौरान विपक्ष ने जिस तरह से नीतीश सरकार को घेरने की कोशिश की, वह कहीं न कहीं लालू यादव की रणनीति को कारण माना जा रहा है.
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