कैनविज टाइम्स,डिजिटल डेस्क। हरियाणा में महेंद्रगढ़ के बाघोत गांव के मोहित कुमार का शव पिछले पांच दिन से अंतिम संस्कार का इंतजार कर रहा है। पुलिस-प्रशासन ने समाधान निकालने में नाकाम साबित हो रहा है। जिले के राजनेता भी सिर्फ बयानबाजी तक सीमित है। किसी भी नेता ने मोहित को मुक्ति दिलाने के लिए उसके पार्थिव शरीर का अंतिम संस्कार कराने के कोई प्रयास नहीं किए हैं, सिर्फ राजनीति हो रही है।
पिता ने मीडिया से बातचीत में बताया कि उन्हें न्याय की उम्मीद है, लेकिन विभिन्न दलों द्वारा मामले में राजनीति की जा रही है, जो उनकी पीड़ा को और बढ़ा रही है। मृतक के शव को लेकर हुए विवाद ने अब सामूहिक शोक को राजनीतिक विवाद में बदल दिया है।
परिवार का कहना है कि शव को अंतिम संस्कार के लिए उठाने की बजाय राजनीतिक लाभ लेने के प्रयास हो रहे हैं, जिससे उन्हें न्याय की कोई उम्मीद नहीं दिख रही। मृतक के परिवार और उनके समर्थक अब उच्च अधिकारियों से आग्रह कर रहे हैं कि मामले की निष्पक्ष जांच हो और दोषियों को कड़ी सजा मिले, ताकि उनके बेटे की मौत का कोई सही कारण सामने आ सके और उन्हें न्याय मिल सके। इस मामले में पुलिस और प्रशासन की भूमिका भी सवालों के घेरे में है, क्योंकि शव को अंतिम संस्कार के लिए नहीं उठाने के पीछे कुछ विवादित पहलू सामने आ रहे हैं। अब देखना यह है कि प्रशासन और राजनीति के बीच यह मामला कब तक उलझा रहता है और मृतक के परिवार को कब तक न्याय मिलेगा।
मामला दर्ज करने के दिए थे निर्देश
मुख्य सचिव ने पूर्व मंत्री के विरुद्ध मामला दर्ज करने के निर्देश दिए थे, लेकिन पुलिस ने मामला दर्ज नहीं किया। बिना जांच करे ही मामले को रफा-दफा कर दिया गया। प्रदेश सरकार से अब न्याय की उम्मीद नहीं है, इसलिए 12 दिन बाद वह सुप्रीम कोर्ट के दरवाजे पर गुहार लगाएंगे।